कब तलक ढूंढोगे.
 वह कहीं अकेले में।।
 नाम किसी और का.
 तुम्हारा इंतजार कर रही हो।।
 कब तलक ढूंढोगे उसकी मुस्कुराहट को.
 जिसे तुम्हारे नाराज होने पर फर्क नहीं पड़ा।।
 तुमने चाहा उसे बेइंतेहा.
 बात उसे भी मालूम है।।
 बेवजह छोड़ कर चला जाना.
 बस यही खेल का हुनर उसे आता था।।
 कब तलक ढूंढोगे।
 
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